किताब / पुस्तक पर कविता | Poem On Books In Hindi- नमस्कार दोस्तों आपका एक बार फिर स्वागत है, आज के आर्टिकल में हम किताब/बुक पर छोटी बड़ी हिंदी कविताए लेकर आए है.
किताब हमें जीवन में सही दिशा दिखाती है. एक किताब व्यक्ति के जीवन को बदलने की क्षमता रखती है. जिसके पास एक अच्छी पुस्तक का ज्ञान होता है, वो आज के इस संसार में सबसे अमीर होता है.
किताब / पुस्तक पर कविता | Poem On Books In Hindi
किताब मेरी " रमेश तैलंग"
रात हो गई तू भी सो जा
मेरे साथ, किताब मेरी
सपनों की दुनिया में खो जा
मेरे साथ किताब मेरी
बिछा दिया है बिस्तर तेरा
बस्ते के अंदर देखो
लगा दिया है कलर बॉक्स का
तकिया भी सुंदर देखो
मुंहफुल्ली, अब तो खुश हो जा
मेरे साथ, किताब मेरी
तुझे पता है सुबह सुबह
फिर जगना है हम दोनों को
भागम भागी में स्कूल
निकलना है हम दोनों को
फड़ फड़ न कर, अब चुप हो जा
मेरे साथ किताब मेरी
चित्र देख पुस्तक पढ़ जाती "सतीशचंद्र भगत"
दादा जी की प्यारी प्यारी
सृष्टि है दादी की दुलारी
ठुमक ठुमक नाचती गाती
झुन झुन झुन पायल खनकाती
बात बात में नो नो करती
घर आँगन में शोर मचाती
हँसती रोती कविता गाती
चित्र देख पुस्तक पढ़ जाती
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प्रिय दर्शको उम्मीद करता हूँ, आज की हमारी कविताए किताब / पुस्तक पर कविता | Poem On Books In Hindi आपको पसंद आई होगी, यदि कविताए अच्छी लगी तो इसे अपने दोस्तों के साथ शेयर जरुर करें.
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