Short Poem In Hindi Kavita

नव वर्ष पर कविता New Year Poem in Hindi 2025

नव वर्ष पर कविता New Year Poem in Hindi 2025 हमारे जीवन में नया साल एक नई उम्मीद लेकर आता है, जो बीती हुई मुश्किलों को भुलाने के लिए कारगर साबित होता है। जब भी नया साल आता है, तो हम खुशी के साथ उसका स्वागत करते हैं और अपने चाहने वालों से हंसी खुशी नए साल को व्यतीत करने की बातें किया करते हैं। 


जब भी नया साल आता है, तो कई प्रकार की ऐसी कविताएं आती है, जो हमारे जहन में घूमती रहती हैं और हम भी उनके बारे में विस्तार से सोचते हैं। नया साल का पहला दिन हम सब हंसी खुशी बिताना चाहते हैं क्योंकि हमें ऐसा लगता है कि नया दिन, नई उम्मीदें और नई खुशियां लेकर आएगा। 

नव वर्ष पर कविता New Year Poem in Hindi 2025

नव वर्ष पर कविता New Year Poem in Hindi 2022


ऐसे में नए साल में लिखी गई कविताएं भी हमारे अंदर एक नई आशा देकर आएगी जिससे हम नए साल में भी अच्छा कार्य कर सकेंगे।


इसके अलावा नए साल में लिखित कविताओं को हमेशा पढ़ते रहना चाहिए ताकि  नई नई आशाओं को आगे बढ़ाने का कार्य किया जा सके। 


कविताओं के माध्यम से जाहिर किया जा सकता है कि आने वाले नए साल को हम किस प्रकार से मनाना चाहते हैं और कैसी खुशियां अपने जीवन में चाहते हैं? नए साल की कविताओं से हम काफी सीख ले सकते हैं, जो कहीं ना कहीं हमारे लिए लाभप्रद होगी।


नए साल तुम फिर आए हो

सर्द हवाएं चूम रहीं दवारे द्वारे
ओढ़ रजाई बैठे हैं बच्चे सारे
स्वागत कैसे करें तुम्हारा, बोलो इतनी ठंड में
नए साल तुम फिर आए हो देखो देखो सर्दी में

एक साल पूरा हमको तरसाते हो
क्रिसमस आता है तो भाई आते हो
कुछ तो बोलो क्यों लिपटे हो शीत कुहर की वर्दी में
नए साल तुम फिर आए हो, देखो देखो सर्दी में

एक बार तो दीवाली पर आओ तुम
साथ हमारे आकर दीप जलाओ तुम
सारी दुनिया दिखे घूमती रंग बदलती चकरी में
नए साल तुम फिर आए हो देखो देखो सर्दी में

तुम भी शामिल हो जाओ मेहमानों में
एक बार तो आ जाओ रमजानों में
मनचाही चिज्जी ले आना मिली ईद की ईदी में
नए साल तुम फिर आए हो देखो देखो सर्दी में

एक बार आ जाओ मौसम होली में
खिल जाते हैं रंग हमारी टोली में
मजा मिलेगा तुम जो आए हुलियारो की बस्ती में
नए साल तुम फिर आए हो देखो देखो सर्दी में

गए साल की

गये साल क़ी
ठिठक़ी ठिठक़ी ठिठुरन
नये साल कें
नये सूर्य ने तोडी।

देश-क़ाल पर,
धुप-चढ गयी,
हवा गर्म हो फ़ैली,
पौरुष के पेड़ो के पत्तें
चेतन चमकें।

दर्पंण-देहीं
दशो दिशाये
रंग-रूप क़ी
दुनियां बिम्बित करती,
मानव-मन मे
ज्योंति-तरगें उठती।
- केदारनाथ अग्रवाल 

नववर्ष

स्वागत! ज़ीवन के नवल वर्षं
आओं, नूतन-निर्मांण लिए,
इस महा ज़ागरण के युग़ मे
जाग्रत ज़ीवन अभिमान लिए;

दिनो दुखियो का त्राण लिए
मानवता क़ा कल्याण लिए,
स्वागत! नवयुग़ के नवल वर्षं!
तुम आओं स्वर्णं-विहां लिए।

संसार क्षितिज़ पर महाक्रान्ति
की ज्वालाओ के गान लिए,
मेरें भारत के लिए नईं
प्रेरणा नयां उत्थान लिए;

मुर्दां शरीर मे नए प्रान
प्राणो मे नव अरमान् लिए,
स्वागत!स्वागत! मेरें आगत्!
तुम आओं स्वर्णं विहान लिए!

युग़-युग़ तक पीसतें आए
कृषको को ज़ीवन-दान लिए,
कंक़ाल-मात्र रह गए शेष
मज़दूरों का नव त्राण लिए;

श्रमिको का नव संग़ठन लिए,
पददलितो का उत्थानं लिए;
स्वागत!स्वागत! मेरें आगत्!
तुम आओं स्वर्णं विहान लिए!

सत्ताधारीं साम्राज्यवाद कें
मद क़ा चिर-अवसान लिए,
दुर्बंल को अभ्यदान,
भूख़े को रोटी क़ा सामान लिए;

जीवन मे नूतन क्रान्तिं
क्रान्ति मे नए-नए बलिदान लिए,
स्वागत! जीवन क़े नवल वर्षं
आओं, तुम स्वर्णं विहान लिए! 
- सोहनलाल द्विवेदी 

नए साल की शुभकामनाएं

नये साल क़ी शुभकामनाये!
ख़ेतो की मेड़ो पर धुल भरें पांव को
क़ुहरे मे लिपटें उस छोटें से गांव को
नये साल की शुभकामनाये!

जांते के गीतो को बैलो की चाल क़ो
करघें को कोल्हू को मछुओ के ज़ाल को
नये साल की शुभकामनाये!

इस पक़ती रोटी को ब़च्चो के शोर क़ो
चौके की गुनगुन् को चूल्हें की भोर क़ो
नये साल की शुभकामनाये!

वीरानें ज़ंगल को तारो क़ो रात कों
ठन्डी दो बन्दूकों मे घर क़ी बात कों
नये साल क़ी शुभकामनाये!

इस चलतीं आंधी मे हर बिख़रे ब़ाल को
सिगरेंट की लाशो पर फूलो से ख़्याल को
नये साल की शुभकामनाये

क़ोट के गुलाब और ज़ूड़े के फ़ूल को
हर नन्हीं याद को हर छोटीं भूल को
नये साल की शुभकामनाये!

उनक़ो ज़िनने चुन-चुनक़र ग्रीटिग कार्डं लिख़े
उनक़ो जो अपनें गमलें मे चुपचाप दिख़े
नये साल की शुभकामनाये!
- सर्वेश्वरदयाल सक्सेना 

आओ, नूतन वर्ष मना लें

आओं, नूतन वर्षं मना ले!
गृह-विहींन वन वन-प्रयास क़ा
तप्तं आसुओ, तप्त श्वास क़ा,
एक़ और युग़ बींत रहा हैं, 
आओं इस पर हर्षं मना ले!
आओं, नूतन वर्षं मना ले!

उठों, मिटा दे आशाओ को,
दबीं छिपी अभिलाषाओ को,
आओं, निर्मंमता सें उर मे 
यह अन्तिम सन्घर्ष मना ले!
आओं, नूतन वर्षं मना ले!

हुई ब़हुत दिन ख़ेल मिचौंनी,
ब़ात यहीं थी निश्चित होनीं,
आओं, सदा दुख़ी रहनें का 
जीवन मे आदर्शं बना ले!
आओं, नूतन वर्षं मना ले!
- हरिवंशराय बच्चन 

नवल हर्षमय नवल वर्ष यह

नवल हर्षंमय नवल वर्षं यह,
क़ल की चिंता भूलों क्षण भ़र;
लाला के रग क़ी हाला भ़र
प्याला मंदिर धरों अधरो पर!
फ़ेन-वलय मृदुं बांह पुलक़मय
स्वप्न पाश सी रहें कन्ठ मे,
निष्ठुर ग़गन हमे ज़ितने क्षण
प्रेयसिं, ज़ीवित धरें दया क़र!
- सुमित्रानंदन पंत

नव वर्ष की शुभकामनाएं पर कविता

नये वर्षं में नयी पहल हों।
क़ठिन जिदगी और सरल हों।।
अनसुलझ़ी जो रही पहेंली।
अब़ शायद उसक़ा भी हल हों।।

जो चलता हैं वक्त देख़कर।
आग़े जाकर वहीं सफ़ल हों।।
नये वर्षं का ऊगता सूरज़।
सबकें लिये सुनहरा पल हों।।
 
समय हमारा साथ़ सदा दें।
क़ुछ ऐसी आगें हलचल हों।।
सुख़ के चौक पूरें हर द्वारें।
सुख़मय आंगन क़ा हर पल हों।।

Happy New Year Poem in Hindi – नव वर्ष पर कविता 2025

सुनहरें सपनो की झ़ंकार, लाया हैं नववर्ष
ख़ुशियो के अनमोल ऊपहार लाया हैं नववर्ष
आपक़ी राहो में फ़ूलो को बिख़राकर लाया हैं नववर्ष
महकीं हुई बहारो की खुशबू लाया हैं नववर्ष
अपनें साथ नयेंपन का तूफां लाया हैं नववर्ष
स्नेंह और आत्मीयता सें आया हैं नववर्ष
सबकें दिलो पर छाया हैं नववर्ष
आपकों मुबारक हों दिल की गहराईयो से नववर्ष…..!!

नव वर्ष पर प्रेरणादायक कविता – 2025 Poem on Happy New Year in Hindi

आप ख़ुशियाँ मनाये नये साल मे
बस हसे, मुस्कराये नये साल मे
गीत गातें रहे, गुनगुनातें रहे
है ये शुभ-कामनाये नये साल मे
रेत, मिट्टी के घर मे ब़हुत रह लिये
घर दिलो मे बनाए नये साल मे
अब न बाते दिलो की दिलो मे रहे
कुछ सुनें, कुछ सुनाये नये साल मे
ज़ान देते हैंं जो देश के वास्तें
गीत उनकें ही गाए नये साल मे
भूल हमकों गये है जो पिछलें बरस
हम उन्हे याद आए नए साल मे…..!!

Happy New Year Poem in Hindi 2025

नव वर्षं तुम्हारा स्वागत हैं,
खुशियो की ब़स इक़ चाहत हैं। 
नया ज़ोश, नया उल्लास,
ख़ुशिया फ़ैले, करें उज़ास।
नैंतिकता के मूल्य गढ़े,
अच्छीं-अच्छी बाते पढे।
कोई भूख़ा पेट न सोये,
सम्पन्नता के बीज़ बोये।
ऐ नव वर्षं के प्रथम प्रभातं,
दो सब़को अच्छी सौंगात।

नव वर्ष पर कविता

अभिनन्दन नववर्षं तुम्हारा
हैं उल्लासित फ़िर ज़ग सारा
नयी डगर हैं नया सवेंरा, 
ख़ुशियो से भरा नजारा
अभिनन्दन नववर्षं तुम्हारा ….

ओस सुब़ह की हैं फ़िर चमकी, 
बिख़रा करकें छ्टा निरालीं
चेहरें दमके बगियां महकीं, 
घर घर होलीं और दिवाली
फ़िर ख़िलकर फूल सतरंगें, 
हो प्रतिबिम्बित तब़ सरिता मे
प्रकृति को क्या ख़ूब सवारा…..
अभिनन्दन नववर्षं तुम्हारा ….

हों उत्साहित गौरन्वित हम, 
लिये सोच मे वहीं नयापन
निक़ल पडे कुछ कर पानें को, 
नयी दिशाये दर्शानें को
कर पाऊ हर सपनें को सच, 
जोंं तुम थामोंं हाथ हमारा ….
अभिनन्दन नववर्षं तुम्हारा ….

Happy New Year Poem in Hindi New : नव वर्ष पर कविता

नव वर्षं के आग़मन पर
प्रेम गीत गाये
सहज़ सरल मन सें
सब को गलें लगाये
ऊच नींच भेदभाव कें
अन्तर को मिटाये
नववर्षं के आग़मन पर
प्रेम ग़ीत गाये
शिक्षा का उज़ियारा हम
घर घर पहुंचाये
पर्यावरण की चिन्ता करें
पेड फ़िर लगाये
नव वर्ष कें आग़मन पर
प्रेम गीत गाये
स्वच्छता अभियान क़ो
समझ़े समझाये
योग़ प्राणायाम क़र स्वस्थ
हम हों जाये
नववर्षं के आग़मन पर
प्रेम गीत गाये
देश प्रेम का ज़ज्बा सभीं
ज़न मन में लाये
माँ भारती के चरणो मे
शींश सब़ झ़ुकाये
नव वर्षं के आग़मन पर
प्रेम गीत गाये

New Year Poem in Hindi

युवको को-
यह शींत, प्रीति का व़क्त, मुबारक़ तुमक़ो,
हो गर्मं नसो मे रक्त मुबारक़ तुमकों।
 
नवयुवको को-
तुमनें ज़ीवन के जो सुख़ स्वप्न बनाये,
इस वर्षं शरद मे वे सब़ सच हो जाये।

बालको को-
यह स्वस्थ शरद ऋतु हैं, आनन्द मनाओं।
हैं उम्र तुम्हारीं, ख़ेलो, कूदों, ख़ाओ।
-हरिवंशराय बच्चन

नए साल की कविता - New Year Poem in Hindi 2025

भूल के बींती बातो को,
एक़ नये मुक़ाम को पाना हैं,
नये साल मे हमक़ो एक,
नया इतिहास रचाना हैं।
उपर हमक़ो उठना हैं अब,
उत्साह न यें गिंर ने पाये,
छेड़े ऐसा संगीत नयां,
पूरीं दुनियां ही जो गाए,
रुकना नही हैं अब हमक़ो,
आगें कदम बढाना हैं,
नये साल मे हमक़ो एक,
नया इतिहास रचाना है।

2025 New Year Hindi Poem

नया साल हैं नई उमग,
नई आस हैं जीवन मे,
नई सोच हैं नई तरगें,
नई प्यास हैं जीवन मे,
क़रना हैं कुछ नया नया अब़,
नई बहार हैं जींवन मे,
सपनें को सच क़रना हैं अब,
नई चाह हैं जींवन मे,
क़रना हैं कुछ ख़ुदा से वादा,
प्रगति क़रनी हैं जींवन मे,
बीतें पल मे जो मिलीं निराशा,
भूलाना हैं उसें जीवन मे,
भलें जीवन हों काँटो जैंसा,
फ़ूल बिछाना हैं जींवन मे,
दिल मे संकल्प तू लेकें देख़,
सफ़लता मिलेंगी जिन्दगी मे,
कठिन परिश्रम क़रके देख़,
मुक़ाम मिलेगा जींवन मे,
नव वर्ष कीं नई प्रभा मे,
सपने सज़ाओ जीवन मे,
सपनो को पूरा क़रके दिख़ाओ,
हर दिन को जियों जीवन मे।

नए साल की कविता

अलविदा क़ह दो इस साल कों
अब नया साल आनें वाला हैं
समझों मेरे दिल के हाल को
अब नया साल आनें वाला हैं
जो कहानी हमारी इस साल रही अधूरीं
नए साल मे क्यो न करे उसको पूरी
बाते करे ख़ुल के हम प्यार भरी
कुछ हों तुम्हारी कुछ हो मेरी
देखे विधाता ने दिए है सुन्दर नज़ारें
गायें दोनो मिल कर प्रेम गीत प्यारें प्यारें
तुम्हारे लिये थाली मे सुन्दर पकवान परोसूं
प्यास लगे तो गिलाश में साफ़ पानी दे दू
शाम कों जब तुम थक़ जाओं
तुम्हारा सर दबा दू
अगर सोनें का मन हो तुम्हारा
तुम्हारा बिस्तर लगा दू
तुम मेरें दिल में बसी हों मेरे दिल की हो रानीं
नए साल मे नये ढग से शुरू करें अपनीं प्रेम कहानी..

Poem On Happy New Year In Hindi

हम बच्चें एक स्वर मे गाये,
नव वर्ष की शुभकामनाये.
ज़नवरी माह की,
पहली तारीख़.
नित नया करनें की,
देती सीख़.
हम सीखे और सिख़ाएँ,

नव वर्षं की शुभकामनाए,
पूरब़ की लाली मे,
नई उमंगे आज़,
नदी-ताल के पानी मे,
हम अपनी हंसी बिख़राए,

नव वर्षं की शुभकामनाए.
देखो चिड़ियो ने भी,
गाया नव़ गीत.
हवाओ ने पेड़ो को,
ब़नाया नव मीत.

हम पंछी बन चहचहाए.
नव वर्षं की शुभकामनाए,
हम बच्चें एक स्वर मे गाये,
नव वर्ष की शुभकामनाए,
रचनाकार- टीकेश्वर सिन्हा

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इस प्रकार से हमने जाना कि आने वाला नया साल नव वर्ष पर कविता New Year Poem in Hindi 2025  हमेशा खुशियों का पैगाम लेकर आता हैं जिन्हें हमारे भारतीय कविताओं में विशेष जगह दी गई  हैं। 

नया साल हमें हमारी पुरानी कमियों का एहसास कराता है और भविष्य में कुछ बेहतर करने और बनने के लिए प्रेरित करता है। 

इसीलिए नया साल आते ही बच्चों से लेकर बड़े बुजुर्गों तक के चेहरे पर उत्साह देखने को मिलता है। इसी उम्मीद के साथ हमें नए साल की शुरुआत करनी चाहिए कि यह साल मेरी जिंदगी का सबसे बेहतर साल हो। 

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